मुझे ट्यूलिप बहुत पसंद हैं, शायद इसीलिए जब भी बसंत ऋतु आती है मेरा यायावर मन ट्यूलिप फ्लावर्स की खोज मे निकल पड़ता है। शायद मेरे भीतर भी कहीं एक “फ्लॉवर हंटर” की आत्मा छुपी हुई है। पिछली साल इन दिनों मैं ट्यूलिप देखने दुनिया के सबसे बड़े ट्यूलिप गार्डन क्यूकेन्होफ़ पहुँच गई थी। क्यूकेन्होफ़ गार्डेन यूरोप के हॉलैंड में स्थित है। इस बार मैंने कश्मीर मे होने वाले ट्यूलिप फेस्टिवल मे जाने का मन बनाया। श्रीनगर में हर साल अप्रैल में ट्यूलिप फेस्टिवल मनाया जाता है। जिसका आयोजन कश्मीर टूरिज्म बोर्ड करता है। आप को जान कर हैरानी होगी कि यह ट्यूलिप गार्डन एशिया का सबसे बड़ा ट्यूलिप गार्डन है। श्रीनगर मे इंदिरा गाँधी मेमोरियल ट्यूलिप गार्डेन मे हर साल एक महीने के लिए ट्यूलिप फेस्टिवल मनाया जाता है। जिसके लिए डिपार्टमेंट ऑफ फ्लोरीकल्चर पूर साल मेहनत करता है। ज़बरवान पर्वतमाला के दामन मे लगभग 12 हेक्टेयर में फैला यह बॉटनिकल गार्डेन बहुत खूबसूरत है। इस साल इंदिरा गाँधी मेमोरियल ट्यूलिप गार्डेन में 15 लाख ट्यूलिप लगाए गए हैं। इस ट्यूलिप गार्डेन स्थापना सन् 2008 में की गई थी गई थी। इस गार्डेन को देखने लाखों की संख्या में सैलानी हर वर्ष देश विदेश से आते हैं।
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Tulip Garden, Srinagar, Kashmir |
क्यूंकि कश्मीर घाटी ने मुग़लों का एक लंबा दौर देखा है इसलिए यहाँ के गार्डेन्स पर पार्शियन स्थापत्यकला का प्रभाव देखने को मिलता है। जिसमें टेरेस गार्डेन पार्शियन हॉर्टिकल्चर का ख़ास अंग माने जाते है। निशात बाग़ और शालीमार गार्डेन भी इसी तर्ज़ पर बनाए गए है। और यहाँ का इंदिरा गाँधी मेमोरियल ट्यूलिप गार्डेन भी उसी स्ट्रक्चर पर बना है। यहाँ तीन टैरेस हैं।
इस गार्डेन को तैयार करने मे पूरे 10 महीनों का वक़्त लगता है। एक महीने के लिए इस गार्डेन को खोला जाता है जिसके बाद अगले सीज़न के लिए गार्डेन को दुबारा तैयार करने की क़वायद शुरू हो जाती है। यहाँ जो ट्यूलिप हम देखते हैं इन्हें उगाने के लिए हॉलैंड से ट्यूलिप बल्ब आयात किए जाते हैं। और जब फेस्टिवल के बाद गार्डेन पब्लिक के लिए बंद हो जाता है तब बड़ी सावधानी से एक-एक ट्यूलिप बल्ब को सहेजने की क़वायद शुरू की जाती है। इन्हें न सिर्फ़ अलग अलग रंगों और वैरायटी के हिसाब से सहेजा जाता है बल्कि अगले सीज़न तक खराब न होने के लिए कोल्ड स्टोरेज मे बड़ी सावधानी से रखा भी जाता है। यह पूरा काम फ्लोरीकल्चर डिपार्टमेंट के एक्सपर्ट्स की निगरानी मे किया जाता है।
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Tulip Garden, Srinagar, Kashmir |
दोस्तों ऐसा कौन होगा जिसे फूल पसंद न हो? फूल प्रकृति माँ का एक ऐसा तोहफा है जोकि चुटकियों में आपका मूड फ्रेश कर देता है। आप कितने ही गुस्से में हों फूल देख कर आपके चेहरे पर मुस्कान आ ही जाएगी। यह मेरे अलावा वैज्ञानिक अनुसन्धान भी कहते हैं। एक शोध के अनुसार जो लोग फूल पाते हैं या फिर फूलों सानिध्य में रहते हैं उनमे तनाव का स्तर लगातार घटता जाता है। वह ज़्यादा खुश और संतुष्ट रहते हैं। फूल हमारे इमोशनस के लिए हीलर का काम करते हैं। स्टेट यूनिवर्सिटी ऑफ न्यू जर्सी में हुए एक शोध से यह जानकारियां मिली। फूल हमारी भावनाओं को प्रकट करने के लिए सबसे सशक्त मध्यम हैं। यह हमारे सभी प्रकार के भावों को अपने अलग अलग रंगों से बड़े ही प्रभावी ढंग से व्यक्त करते हैं। खुशी, उल्लास,भक्ति, प्रेम, समर्पण, शोक जैसे सभी अवसरों पर हम अलग अलग प्रकार के फूलों का प्रयोग करते हैं। और फिर बात अगर हो ट्यूलिप्स की तो कहने ही क्या हैं। हिमालय से निकल लम्बी यात्रा कर ट्यूलिप नीदरलेंड का राष्ट्रीय पुष्प ट्यूलिप ऐसे ही नहीं बन गया। और जिन देशों से होकर यह यूरोप पहुंचा, ट्यूलिप उनकी सभ्यता का भी अभिन्न अंग बना।
यहाँ फैले रंगबिरंगे ट्यूलिप्स को देख कर कोई भी अंदाज़ा लगा सकता है कि इस इंद्रधनुषी छठा को बिखेरने में कितनी मेहनत की गई है।
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Tulip Garden, Srinagar, Kashmir |
इंदिरा गाँधी मेमोरियल ट्यूलिप गार्डेन डल लेक के बहुत नज़दीक स्थित है। तीन लेवल पर बना यह ट्यूलिप गार्डेन अपने में 46 प्रकार के ट्यूलिप्स का घर है। इस ट्यूलिप गार्डेन के बीचों बीच गार्डेन की खूबसूरती में चार चाँद लगाने के लिए कई फाउन्टेन्स भी लगाए गए हैं। गार्डन में आने वाले लोगों की सुविधा का पूरा ख़्याल रखा गया है।
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Food point-Tulip Garden, Srinagar, Kashmir |
इसलिए यहाँ एक छोटा सा फ़ूड पॉइंट भी है। जहाँ जाकर आप कश्मीर के ख़ास पकवान जैसे बाक़रख़ानी, चॉकलेट केक और कश्मीरी केहवा का आनंद ले सकते हैं। इस गार्डन में साफ सफाई का विशेष ख्याल रखा गया है। ट्यूलिप के फूलों की क्यारियों के बीच में जाने की इजाज़त किसी को नहीं है अलबत्ता आप इनके नज़दीक तस्वीरें खिंचवा सकते हैं। यहाँ जगह जगह सैलानियों के बैठने के लिए बैंच भी बनाई गई हैं।
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KK@Tulip Garden, Srinagar, Kashmir |
कब जाएं?
इंदिरा गाँधी मेमोरियल ट्यूलिप गार्डेन हर साल अप्रैल के महीने में एक महीने के लिए खोला जाता है। जिसकी तारीख कश्मीर टूरिज्म की वेबसाइट से चैक करके ही अपनी ट्रिप प्लान करें।
कैसे पहुंचे?
श्रीनगर हवाई और सड़क मार्ग से सभी बड़े शहरों से जुड़ा हुआ है। अगर आप रेल से यात्रा करना चाहते हैं तो जम्मू तक रेल सुविधा है, उसके आगे सड़क मार्ग से जाना पड़ेगा।
ट्रेवेल टिप्स:
हालांकि अप्रैल माह में पूरे देश में काफ़ी गर्मी होने लगती है लेकिन कश्मीर में मौसम सुहावना होता है। बहुत बार बारिश की सम्भावना भी बन जाती है। जिसके चलते तापमान बहुत नीचे चला जाता है इसलिए सर्दी के इंतिज़ाम से जाएं। और जाने से पहले मौसम का हाल चैक करके ही प्लान बनाएं।
फूलों की खूबसूरती देखते ही बनती है। पठनीय लेख। रोचक जानकारी।
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जवाब देंहटाएंReally enjoyed reading this post. The flow of ideas is simple yet very informative, and it kept me hooked till the end. Looking forward to reading more content like this from you in the future.
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